- भस्म आरती: मस्तक पर मुकुट और भांग, ड्राईफ्रूट से सजे बाबा महाकाल, जय श्री महाकाल की गूंज हुई गुंजायमान
- भस्म आरती: बिलपत्र, रुद्राक्ष की माला, रजत मुकुट और आभूषण अर्पित कर राजा स्वरूप में किया गया भगवान महाकाल का श्रृंगार!
- आज से शुरू श्राद्ध पक्ष: मोक्षदायिनी शिप्रा में तर्पण, पिंडदान और श्राद्ध कर्म का विशेष महत्व, नगर निगम ने श्रद्धालुओं की सुविधाओं के लिए की व्यवस्था
- राष्ट्रपति के आगमन पर महाकाल मंदिर में खास तैयारी शुरू: नंदीहाल और गर्भगृह में राजसी साज-सज्जा, प्रोटोकॉल व टिकट व्यवस्था बंद; 1800 से अधिक जवान रहेंगे तैनात
- उज्जैन में मंगलवार को धूमधाम से मनाया गया अनंत चतुर्दशी पर्व: रात 11 बजे निकला झिलमिलाती झांकियों का कारवां, नगर पालिका ने की विशेष व्यवस्थाएं
अनाथ बच्चों का होगा जन्म पंजीयन, जन्म प्रमाण-पत्र में अनाथ बच्चा नहीं लिखा जायेगा
राज्य शासन ने अनाथ बच्चों के जन्म पंजीकरण के लिये दिशा-निर्देश जारी किये हैं। बच्चे के जन्म-स्थान के बारे में जानकारी न होने पर संबंधित अनाथालय अथवा जहाँ बच्चा रह रहा है, उसे ही जन्म-स्थान और क्षेत्र के मुख्य चिकित्सा अधिकारी द्वारा निर्धारित तिथि को ही जन्म-तिथि माना जायेगा। माता-पिता के नाम की जानकारी संस्थान, अनाथालय को मालूम न होने की दशा में माता-पिता के नाम का कॉलम जन्म रिपोर्टिंग फार्म में खाली ही रखा जायेगा।
संबंधित रजिस्ट्रार जन्म एवं मृत्यु, जन्म रिपोर्टिंग प्रपत्र में उपलब्ध विवरण के आधार पर अनाथ बच्चे के जन्म को पंजीकृत करेंगे। पंजीकरण के बाद बच्चे का जन्म प्रमाण-पत्र जारी किया जा सकेगा, परंतु जन्म प्रमाण-पत्र में ‘अनाथ बच्चा” नहीं लिखा जायेगा। अनाथालय के प्रभारी/अभिभावक से कहा गया है कि उनकी देखभाल में रहने वाले बच्चों का यथाशीघ्र पंजीयन करवाये।