- बाबा महाकाल की शरण में पहुंची प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की धर्मपत्नी जशोदा बेन, भोग आरती के बाद गर्भगृह की देहरी से पूजा-अर्चना की।
- भस्म आरती: रौद्र रूप में सजे बाबा महाकाल, धारण किया शेषनाग का रजत मुकुट, रजत मुण्डमाल और रुद्राक्ष की माला के साथ सुगन्धित फूलों की माला
- बाबा महाकाल की शरण में पहुंचे प्रतिभाशाली गेंदबाज आकाश मधवाल, गर्भगृह की देहरी से की बाबा महाकाल की पूजा-अर्चना
- भस्म आरती: मस्तक पर त्रिपुण्ड, भांग, चन्दन और चंद्र से राजा स्वरूप में सजे बाबा महाकाल, धारण की गुलाब के सुगंधित पुष्पों से बनी माला
- भस्म आरती में शामिल होकर क्रिकेट जगत के सितारों ने लिया बाबा महाकाल का आशीर्वाद, करीब दो घंटे तक नंदी हॉल में बैठकर की भगवान की आराधना
मदद के चक्कर में मर्यादा भूली:कांग्रेस की प्रदेश प्रवक्ता ने जनप्रतिनिधियों के लिए कहा
उज्जैन के माधव नगर अस्पताल पहुंचकर हंगामा मचाने के दो दिन बाद कांग्रेस प्रदेश प्रवक्ता नूरी खान के बोल फिर से बिगड़ गए। इस बाद उनके निशाने पर जनप्रतिनिधि रहे। उन्होंने जनप्रतिनिधियों को लेकर कहा कि मां के पेट से जन्म लिया है तो सोशल मीडिया पर प्रतिक्रिया देने के बजाय मरीजों के बीच आओ। उन्होंने जनप्रतिनिधियों के लिए यह भी कहा कि मर्दानगी दिखानी हो तो मरीजों के बीच आओ।
उज्जैन में शनिवार को कांग्रेस प्रदेश प्रवक्ता नूरी खान ने माधव नगर अस्पताल में हंगामा कर फर्श पर लेटे मरीजों के हक में बोलते हुए अस्पताल के सीनियर डाक्टरों को खरी-खोटी सुनाई थी। हालांकि उनकी इस खरी-खोटी सुनाने को लेकर खूब किरकिरी हुई थी। एक वीडियो सामने आया था जिसमे कांग्रेस की प्रदेश प्रवक्ता नूरी खान अभद्रता करती नजर आ रही थी। डाक्टरों को तमीज सिखाते हुए धमकी दे रही थी कि मैं कौन हूं आपको पता चल जाएगा। हालांकि नूरी खान अपने साथ भीड़ लेकर माधव नगर अस्पताल के कोविड वार्ड में पहुंची थी।
रविवार शाम को नूरी खान एक बार फिर माधव नगर अस्पताल पंहुची और उन्होंने इस बार मरीजों के परिजन के लिए नाश्ते और चाय की व्यवस्था करवाई। अस्पताल प्रबंधन सहित आला अफसरों से मिलकर कुछ मरीजों को बेड नहीं मिल रहे थे उसका भी इंतजाम किया। आखिर में मीडिया से बात करते हुए परिजन का दर्द समझाते हुए जोश में आ गई और अपने होश खो बैठी। जनप्रतिनिधियो के लिए बेतुके बोल कहते हुए मर्यादा भूल गई और कहने लगी कि नेता और जनप्रतिनिधि ने अपने मां के पेट से जन्म लिया हो और मर्दानगी होतो इनके बीच आओ, सोशल मिडिया पर प्रतिक्रिया से उज्जैन के लोगों को नहीं बचा पाएंगे।
धरने पर बैठने की दी चेतावनी
एक लड़की की मां को अस्पताल में भर्ती नहीं किया जा रहा था। परिजन भी परेशान हो रहे थे। इसे लेकर नूरी खान ने अफसरों से चर्चा की और कहा कि अगर दो घंटे में व्यवस्था नहीं सुधरी तो मैं धरने पर बैठ जाउंगी। इसके लिए फिर भले मुझे जेल जाना पड़े। उन्होंने कहा कि लोग कोरोना से नहीं उसके इलाज के अभाव में मर रहे हैं।