मामला आरडी गार्डी मेडिकल कॉलेज अस्पताल से बच्चा चोरी का

लापरवाही : 24 माह से बंद है परिसर के सीसीटीवी नवजात का सुराग तलाशने में पुलिस को मुश्किल

पुलिस की जांच और पूछताछ के दायरे में माता-पिता और रिश्तेदार

उज्जैन।आरडी गार्डी मेडिकल कॉलेज अस्पताल से बच्चे चोरी के मामले में जांच के दौरान प्रबंधन की बड़ी लापरवाही सामने आई हैं। मेडिकल कॉलेज अस्पताल के सभी सीसीटीवी 10 से बंद हैं। इस स्थिति ने घटना के प्राथमिक सुराग तलाशने में पुलिस के सामने मुश्किल खड़ी हो गई है। हालांकि पुलिस ने बच्चे की तलाश करते हुए जांच और पूछताछ की जा रही हैं। इसके दायरे में माता-पिता,रिश्तेदार को रखा गया हैं।

आरडी गार्डी मेडिकल कॉलेज जैसे बड़े अस्पताल में सुरक्षा के इंतजाम नही हैं। सीसीटीवी कैमरे 24 माह से बंद पड़े हैं। 720 बेड का अस्पताल होने के बावजूद प्रबंधन ने यहां पर सुरक्षा के इंतजाम पर ध्यान नहीं रखा है। अस्पताल प्रशासन की लापरवाही सामने आई है। यहां पर पिछले दो साल से सीसीटीवी कैमरे बंद पड़े हैं, जिनका सुधार कार्य नहीं किया और न नए लगवाए हैं। ऐसे में मरीज यहां पर असुरक्षित हैं। यहां सीसीटीवी बंद होने से फुटेज के आधार पर नवजात की चोरी के आरोपियों का पता लगाने में मुश्किल खड़ी हो गई है।

रेप पीडि़ता है नाबालिग लड़की

आरडी गार्डी मेडिकल कॉलेज अस्पताल में रेप पीडि़ता नाबालिग लड़की ने 27 जनवरी को बच्चे को जन्म दिया था। रविवार तड़के 4 बजे बच्चा चोरी हो गया। देवास जिले के बागली थाना क्षेत्र के कमलापुर में रहने वाली नाबालिग लड़की उम्र 17 साल के साथ रेप हुआ था, जिससे वह गर्भवती हो गई थी। वह अपने माता-पिता के साथ रहना नहीं चाहती थी।

ऐसे में उसे कोर्ट के आदेश पर बालिका सुधार गृह में रखा गया था। लड़की को गर्भावस्था में चरक अस्पताल में भर्ती कराया गया था। जहां से उसे 27 जनवरी को आगर रोड स्थित आरडी गार्डी मेडिकल कॉलेज में रैफर कर दिया गया था। यहां पर उसने बच्चे को जन्म दिया। डिलीवरी के बाद उसे व बच्चे को अस्पताल के प्रथम तल के ई-1 वार्ड में शिफ्ट किया था।

बच्चा होने की खबर सुनकर उसके माता-पिता भी उज्जैन पहुंचे और बेटी से मुलाकात करने के बाद शनिवार को दोपहर 3 बजे लड़की के पिता घर चले गए। लड़की की देखभाल के लिए उसकी मां और अटेंडर राधिका वर्मा अस्पताल में रुक गई थी। बेटी से मुलाकात करने के बाद शनिवार को दोपहर 3 बजे लड़की के पिता घर चले गए।

लड़की की देखरेख के लिए रात में मां व अटेंडर सो रहे थे कि रविवार सुबह चार बजे बच्चा गायब हो गया। मां व परिवार के लोगों की नींद खुली तो उन्होंने पहले बच्चे को यहां-वहां तलाश किया और फिर अस्पताल प्रबंधन को इसकी सूचना दी। खोजबीन के बाद भी जब बच्चे के बारे में पता नहीं चला तो चिमनगंज मंडी थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाई गई।

बालिका को माता-पिता पर शंका

पुलिस से पूछताछ के दौरान प्रसूता ने आरोप लगाया है कि माता-पिता के मिलने आने के बाद से उसका बेटा गायब है। वह रात को बेटे को दूध पिलाकर सो गई थी। सुबह नींद से जागी तो बेटा गायब था। महिला ने माता-पिता पर ही शंका जताई है, जिसके चलते पुलिस उनसे पूछताछ कर रही है।

पुलिस कर रही गंभीरता से जांच

मामले के जांच अधिकारी करण कुमार ने बताया कि चिमनंगज मंडी पुलिस द्वारा गंभीरता से जांच कर आरोपियों की तलाश की जा रही है। इतना बड़ा अस्पताल होने के बाद भी यहां पर सुरक्षा के कोई भी उपाय नहीं है। सीसीटीवी भी बंद है। पुलिस ने लड़की के माता-पिता और अन्य लोगों से पूछताछ कर रही हैं।

इसके अलावा लड़की से रेप करने वाले जेल में बंद आरोपी से भी पूछताछ करेंगी। वार्ड में ज्यादा मरीज नहीं थे, यहां पर केवल 3-4 मरीज ही थे। प्रसूता ने सूचना के बाद अस्पताल प्रबंधन ने पुलिस को सूचना दी। अस्पताल परिसर में सीसीटीवी बंद होना गंभीर विषय है। इस पर भी वरिष्ठ अधिकारियों के मार्गदर्शन में उचित कार्रवाई की जा सकती है। फिलहाल तो पुलिस की प्राथमिकता नवजात शिशु को तलाश कर सुरक्षित रूप से उसकी मां को सौंपना है। पुलिस इसी दिशा में जांच कर रही है।

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