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उज्जैन : अब प्राइवेट डॉक्टर्स को अपनी क्लिनिक खोलना ही होगी
जनता के हित में कलेक्टर का आदेश – जो प्राइवेट डॉक्टर्स घरों में बैठे हैं वे कल से पहुंचे क्लिनिक पर
लम्बे समय से परेशान हो रहे मरीज अब करवा सकेंगे इलाज, क्लिनिक के लिए गाइड लाइन भी जारी
उज्जैन। कोरोना महामारी के चलते एक और जहाँ सरकारी डॉक्टर्स और कुछ प्राइवेट डॉक्टर्स निर्भय होकर जन सेवा में लगे हुए हैं। वहीँ अधिकाँश प्राइवेट डॉक्टर्स ने अपनी क्लिनिक पर ताले डाल रखे हैं। जिसकी शिकायतें लम्बे समय से प्रशासन को मिल रही थी।
प्राइवेट क्लिनिक बंद होने से एक और जहाँ आम नागरिकों को अन्य बीमारियों में परेशान होना पड़ रहा था वहीँ दूसरी और इसका सारा लोड सरकारी अस्पतालों और कुछ प्राइवेट अस्पतालों पर पढ़ रहा था। घुटने, आँख, दांत, चर्म रोग जैसे अन्य रोगों के मरीज पिछले 60 दिनों से परेशान हो रहे थे।
इसी को दृष्टि गत रखते हुए आज कलेक्टर आशीष सिंह से आपदा प्रबंधन अधिनियम के तहत समस्त प्राइवेट क्लीनिक को शुरू करने का निर्देश दिया है। निर्देश में कहा गया है की आवश्यक सेवा संधारण तथा विच्छिन्नता निवारण अधिनियम 1979 की धारा 4 की उपधारा (1 ) के अंतर्गत घोषित सेवा प्रदाय करने से इंकार नहीं किया जा सकता।
इसी के आधार पर कलेक्टर ने आदेश दिया है की उज्जैन जिले में नागरिकों की सुविधा के लिए सामान्य बीमारियों से पीड़ित जनता की आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए जनरल फिजिशियन/फैमिली फिजिशियन (एलोपैथी एवं आयुष) के क्लीनिक को निर्धारित शर्तों के अधीन खोली जाए।