उज्जैन में पटवारियो को कुचलने वाला ड्राइवर कौन, 12 दिन बाद भी पता नहीं

उज्जैन |  इंदौर फोरलेन पर तपोभूमि चौराहे पर दो ट्रेनी पटवारियों को रौंदने वाली बस का ड्राइवर कौन है, पुलिस घटना के १२ दिन बाद भी पता नहीं लगा पाई है। यह भी स्पष्ट नहीं हो पाया है कि पूर्व में पकड़ाया ड्राइवर ही आरोपी है या अन्य कोई और। मामले में पुलिस की कार्रवाई सीसीटीवी फुटेज और रोड पर चलने वाल ड्राइवर व कंडक्टर से पूछताछ से आगे ही नहीं बढ़ पा रही है, जबकि प्रत्यक्षदर्शियों ने पुलिस को कहा है कि अगर ड्राइवर सामने आता है तो उसे पहचान लेंगे। ऐसे में पुलिस की धीमी कार्रवाई पर सवाल खड़े हो रहे हैं।

तपोभूमि चौराहे पर २१ नवंबर की दोपहर १.३० बजे के करीब भाटी ट्रेवल्स की बस क्रमांक एमपी १३ पी ९१५५ ने बाइक सवार ट्रेनी पटवारियों को टक्कर मार दी थी। घटना में पटवारी ऋतुराजसिंह राठौड़ व अनिल मिश्रा की मौत हो गई थी। मामले में पुलिस ने बस ड्राइवर बीमा अस्पताल निवासी अनोखीलाल के खिलाफ पहले मोटर वीकल एक्ट में प्रकरण दर्ज कर थाने से जमानत पर छोड़ दिया था। बाद में शहरवासियों के विरोध व बस चालक की लापरवाही के चलते गैर इरादतन हत्या की धारा बढ़ा दी। वहीं यह मामला भी सामने आया था कि घटना के समय जो बस चला रहा था उसकी जगह दूसरे बस ड्राइवर को पुलिस थाने में पेश कर दिया गया है। इस पर एसपी सचिन अतुलकर ने जांच के आदेश दिए थे। अब तक यह जांच गति ही नहीं पकड़ पाई है । पुलिस अब तक सीसीटीवी फुटेज ही जुटा पाई, जिसमें ड्राइवर का चेहरा ही स्पष्ट नहीं दिख रहा। वहीं अभी तक इंदौर रोड पर चलने वाले कुछ बस चालक व कंडक्टर से भी पूछताछ की लेकिन घटना के समय बस चलाने वाले ड्राइवर के बारे में कुछ पता नहीं चल सका। पुलिस सूत्र ही बता रहे हैं कि घटना के समय दूसरा बस ड्राइवर था। एक संदिग्ध की जानकारी भी हाथ लगी है लेकिन वह पुलिस को मिल नहीं रहा है। उसकी मोबाइल लोकेशन भी ट्रेस नहीं हो पा रही है। इसी के चलते बस ड्राइवर की स्थिति साफ नहीं हो पा रही है। अगर दूसरा ड्राइवर मिलता है और ड्राइवर बदलना सिद्ध होता है तो इसमें और भी लोग फंस सकते हैं।

 

चश्मदीद बोल रहे- हम पहचानते हैं बस ड्राइवर को

पुलिस की जांच में घटना के समय मौके पर मौजूद दो पटवारियों ने बस ड्राइवर को पहचानने की बात कही है। इन्होंने पुलिस को बताया है कि टक्कर के बाद एक युवक बस से कूदकर भागा था। वहीं कूदकर भागने वाला ड्राइवर युवक था, जबकि पुलिस ने जिस ड्राइवर के खिलाफ प्रकरण दर्ज किया है उसकी उम्र ५१ वर्ष की है।

 

राजनीतिक दबाव में धीमी कारवाई

बस ड्राइवर की सत्यता जांचने में पुलिस की धीमी कार्रवाई के पीछे राजनीतिक दबाव भी होना सामने आ रहा है। बताया जा रहा है कि इस मामले को ठंडा कर कार्रवाई करने के निर्देश पुलिस को मिले हैं। यही वजह है कि पुलिस ने पूर्व में आनन-फानने में नेताओं द्वारा पेश किए गए ड्राइवर पर ही प्रकरण दर्ज कर दुर्घटना का पटाक्षेप कर दिया था। बाद में जब विरोध हुआ और दूसरे के ड्राइवर होने की बात आई तो पुलिस ने जांच के आदेश दिए।

 

जिस ड्राइवर पर प्रकरण दर्ज, वह भी गिरफ्त में नहीं

नानाखेड़ा पुलिस ने दुर्घटना में बस ड्राइवर बीमा अस्पताल निवासी अनोखीलाल पर प्रकरण दर्ज किया था। बाद में इसी प्रकरण में गैर इरादतन हत्या की धारा भी बढ़ा दी गई। ऐसे में ड्राइवर की गिरफ्तारी होना है। स्थिति यह है कि दूसरे ड्राइवर के बस चलाने की जांच होने के चलते ड्राइवर अनोखीलाल को भी पुलिस गिरफ्तार नहीं कर रही है।

 

इनका कहना

बस ड्राइवर के बदलने की जांच अभी जारी है। कोई दूसरा ड्राइवर भी नहीं पकड़ाया है। इंदौर रोड पर चलने वाले बस के कंडक्टर व ड्राइवरों से पूछताछ कर रहे हैं। पूर्व में जिस ड्राइवर पर प्रकरण दर्ज किया था, उसे भी गिरफ्तार नहीं किया है।

– मनीष मिश्रा, टीआई नानाखेड़ा

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