खबर का असर: अफसरों ने किया छतरपुर एसपी-आरआई को कॉल

बोले समन्वय की कमी थी अब हालात ठीक

उज्जैन। चुनाव ड्यूटी के लिए छतरपुर गए दल के बदइंतजामी के शिकार होने की जानकारी को शायद अफसरों ने गंभीरता से लिया। अक्षरविश्व में तथ्यात्मक खबर प्रकाशित होने के बाद लाइन आरआई जयप्रकाश आर्य ने दांवा किया है कि समन्वय की कमी के कारण अव्यवस्था हो गई थी, लेकिन अब वहां फोर्स के लिए अच्छे इंतजाम कर दिए हैं।
सिवनी, छतरपुर चुनाव के लिए २५ अप्रैल को २९५ पुलिसकर्मी और अफसरों को भेजा था। दल के पुलिसकर्मियों ने वाट्सअप पर बनाए लोकसभा -२०१९ चुनाव ड्यूटी ग्रुप पर लिखा था कि उन्हें स्कूल बसों से भेज दिया, जिनमें बच्चों की सीट होने से वे ठीक से बैठ नहीं सके। स्पीड गर्वनर लगा होने से बस ४० की गति से अधिक नहीं चल रही, जिससे सिवनी के बाद छतरपुर पहुंचने में करीब २० घंटे लगे।

यहीं नहीं छतरपुर में अफसरों ने पहले उन्हें लेने से इंकार कर दिया। बाद में लाइन की एक धर्मशाला में ठहराया, लेकिन वहां के आरआई भाटी ने आरओ प्लांट से पानी तक नहीं लेने दिया। कहां खरीदकर पानी पियो। हालात के वीडियो और वाट्सअप चैट के स्क्रीन शॉट मिलने पर अक्षरविश्व ने शुक्रवार को खबर प्रकाशित की थी।

एएसपी बोले समस्या आती है
वाट्सअप पर परेशानी और अफसरों के प्रति नाराजगी को लेकर चुनाव के नोडल अधिकारी व एएसपी प्रमोद सोनकर से चर्चा की। उन्होंने बताया कि मुख्यालय के आदेशानुसार तय समय पर ही फोर्स भेजा गया। थोड़ी परेशानी आती है, कुछ स्वभाव से ही विरोधी होते है, लेकिन जानकारी मिलने पर छतरपुर एसपी तिलकसिंह से चर्चा कर ली है।

एससी बस मांगी थी, बोले नहीं है
आरआई जयप्रकाश आर्य ने खबर के बाद वाट्सअप ग्रुप पर फोर्स को संयम रखने की सलाह दी। वहीं संवाददाता से कहा कि आरटीओ से एसी बसे मांगी थी। उन्होंने शादियों में लगी होने का हवाला देते हुए स्कूल बस पहुंचा दी। छतरपुर आरआई भाटी से बात कर ली है। कोआर्डिनेशन की कमी के कारण स्थिति बिगड़ी थी। अब सब ठीक है।

विधानसभा का भत्ता अब तक नहीं
इधर दल में गए पुलिसकर्मियों ने बताया कि फोर्स तो खुद की जेब से खा-पी रहा है। बसों के ड्राइवर के पास पैसे नहीं होने से उन्हें भी खिला रहा है। करीब २५ दिन तक बाहर रहना है याने एक माह का वेतन खत्म हो जाएगा। पुलिसकर्मियों ने बताया कि जिले के फोर्स को विधानसभा में की ड्यूटी का पैसा ही अब तक नहीं मिला है।

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