संतों की पुकार, पालघर के गुनाहगारों को माफ न करे सरकार…

Ujjain News: धार्मिक शहर से जुड़े साधु-संतों और महंतों ने भी इसकी घोर निंदा करते हुए कहा कि इतनी बेदर्दी से संतों को मारने वाले लोग इंसान तो नहीं हो सकते।

उज्जैन। महाराष्ट्र के पालघर में जूना अखाड़ा के दो संत और उनके ड्रायवर की पुलिस की मौजूदगी में हत्या कर दी गई। इस विभत्स हत्याकांड की पूरे देशभर में निंदा की जा रही है। धार्मिक शहर से जुड़े साधु-संतों और महंतों ने भी इसकी घोर निंदा करते हुए कहा कि इतनी बेदर्दी से संतों को मारने वाले लोग इंसान तो नहीं हो सकते। महाराष्ट्र सरकार से इन दरिंदों को जल्द से जल्द पकडऩे और कड़ी से कड़ी सजा देने की मांग संत समाज द्वारा की गई।

 

नर पिशाच हैं ऐसे दरिंदे

जिस प्रकार से पालघर की घटना का समाचार चैनल वाले दिखा रहे हैं, उसका वीडियो देखकर ही रोंगटे खड़े हो गए। कोई मनुष्य इतना क्रूर कैसे हो सकता है। ये तो साक्षात नर पिशाच हैं, दरिंदे हैं। भला साधु-संतों को मारकर इन्हें क्या हासिल हो गया। यदि कोई नाराजगी, दुश्मनी थी भी, तो कोई इतना मारे कि सामने वाला मर ही जाए। यह अत्यंत ही निंदनीय है, इसे लेकर सरकार जल्द निर्णय ले।

– विनीत गिरि महाराज, महंत गादीपति महानिर्वाणी अखाड़ा महाकाल।

 

अत्यंत हृदयविदारक घटना

पालघर महाराष्ट्र में जूना अखाड़े के सन्तों की जघन्य हत्या को सनातन संस्कृति, हिन्दू धर्म एवं आद्य शंकराचार्य जी की पावन परम्परा पर हमला मानते हुए मैं इस हृदय विदारक घटना की घोर निन्दा करता हूं। दिवंगत आत्माओं को विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं। साथ ही ऐसे अक्षम्य कृत्य करने वालों को सरकार जल्द से जल्द पकड़े और सख्त सजा दे, यह अपील करता हूं।

– संत डॉ. अवधेशपुरी महाराज

 

पुलिस के सामने संतों की हत्या बेहद चिंतनीय

पालघर में पुलिस के सामने सन्यासियों की हत्या हो जाना बेहद चिंतनीय है। चंद पुलिस कर्मियों ने महाराष्ट्र में घटी घटना पर प्रश्नचिन्ह लगा दिया। जूना अखाड़ा नागाओं के 16वीं, 17वीं शताब्दी से ले कर आज तक राष्ट्र व सनातन रक्षा के सुनहरे प्रेरणादायक अध्याय रहे हैं। उन्हीं सन्तों पर ये अत्याचार, कतई सहन नहीं किया जाएगा। इस विकट घड़ी में उद्वेलित हूं, राष्ट्रहित में शांति स्व मर्यादित कर्तव्य मान न्याय की आकांक्षा केंद्र व महाराष्ट्र सरकार से करता हूं कि शीघ्रातिशीघ्र हमलावरों को दंडित किया जाए।

– स्वामी शैलेषानन्द गिरी, महामण्डलेश्वर श्री पंचदशनाम जूना अखाड़ा।

 

साधु-संत की हत्या नहीं सहेगा हिंदुस्तान

मनीषसिंह चौहान ने कहा कि पुलिस की मौजूदगी में साधु-संतों की हत्या कर दी गई। यह एक सोची-समझी साजिश थी। भारत में सबसे ज्यादा कोरोना वायरस के मरीज महाराष्ट्र में हैं, ऐसे में इतनी संख्या में भीड़ कहां से आ गई, उसका जवाब प्रदेश के मुख्यमंत्री को देना होगा। अगर 24 घंटे में आरोपी गिरफ्तार नहीं होते हैं तो अखिल भारत युवक हिंदू महासभा और मप्र युवा शिवसेना गोरक्षा न्यास के पदाधिकारी मध्यप्रदेश में उद्धव सरकार का पुतला दहन करेंगे।

– मनीष सिंह चौहान, अध्यक्ष अभा युवक हिंदू महासभा और मध्य प्रदेश युवा शिवसेना गोरक्षा न्यास

घटना की सीबीआई से जांच कराई जाए

जूना अखाड़ा के महंत कृष्ण गिरी महाराज ने दो संत कल्पवृक्ष गिरी और सुशील गिरी के साथ-साथ उनके ड्राइवर की कथित भीड़ द्वारा निर्मम हत्या करने की घटना पर गहरा दु:ख जताते हुए सीबीआई जांच की मांग की है। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र घटना को लेकर संत समाज आंदोलित होने पर मजबूर है। ये लोग सूरत में एक संत की समाधि में शामिल होने जा रहे थे, लेकिन प्रशासन से पूर्व में अनुमति नहीं ली थी। भीड़ ने चोर होने के संदेह में पीट पीट कर हत्या कर दी। इसकी जांच होनी चाहिए कि कहीं कोरोना महामारी के बहाने संतों को निशाना तो नहीं बनाया गया है।

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