- नंदी हाल से गर्भगृह तक गूंजे मंत्र—महाकाल के अभिषेक, भस्मारती और श्रृंगार के पावन क्षणों को देखने उमड़े श्रद्धालु
- महाकाल की भस्म आरती में दिखी जुबिन नौटियाल की गहन भक्ति: तड़के 4 बजे किए दर्शन, इंडिया टूर से पहले लिया आशीर्वाद
- उज्जैन SP का तड़के औचक एक्शन: नीलगंगा थाने में हड़कंप, ड्यूटी से गायब मिले 14 पुलिसकर्मी—एक दिन का वेतन काटने के आदेश
- सरदार वल्लभभाई पटेल की 150वीं जयंती पर ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ का संदेश, उज्जैन में निकला भव्य एकता मार्च
- सोयाबीन बेचकर पैसा जमा कराने आए थे… बैंक के अंदर ही हो गई लाखों की चोरी; दो महिलाओं ने शॉल की आड़ में की चोरी… मिनट भर में 1 लाख गायब!
उज्जैन में शुरू हुई 118 KM की पंचक्रोशी यात्रा: पहली बार होगी यात्रा की डिजिटल निगरानी, छह प्रमुख स्थानों पर हेड काउंटिंग कैमरे; शिप्रा स्नान कर 27 अप्रैल को होगा यात्रा का समापन!
उज्जैन लाइव, उज्जैन, श्रुति घुरैया: उज्जैन, जिसे अवंतिका, कुशस्थली और उज्जयिनी जैसे पावन नामों से जाना जाता है, भारतीय सभ्यता की उन दिव्य रेखाओं में से एक है, जहाँ धर्म, दर्शन और अध्यात्म एक साथ बहते हैं। इस नगर की पहचान केवल महाकालेश्वर ज्योतिर्लिंग तक सीमित नहीं है, बल्कि यहाँ की धार्मिक परंपराएँ, संस्कार, और सांस्कृतिक चेतना इसे सनातन धर्म के प्राण जैसा बना देती हैं। इन्हीं पवित्र परंपराओं में से एक है — पंचकोशी…
और पढ़े..









