चार दिन बाद भी नलों से आया मटमैला और दूषित पानी

तीन दिन बाद लाइन जोड़ी जो सुबह फिर से टूट गई

उज्जैन। पानी की कमी के कारण पीएचई विभाग द्वारा शहर में दो दिन छोड़कर जलप्रदाय किया जा रहा है बड़ी गड़बड़ी यह हो गई कि छोटे पुल के पास स्थित राईजिंग पाइप लाइन टूट गई। चार दिनों की मशक्कत के बाद लाइन जोड़कर टंकियां भरने का प्रयास किया गया लेकिन वही लाइन सुबह फिर टूट गई। जितने टंकियां भर पाईं थीं उससे पुराने शहर के अधिकांश इलाकों में कम दबाव से जलप्रदाय हुआ। नलों से पानी आया वह भी मटमैला और दूषित था जिससे लोग परेशान हो गये।

शिप्रा और गंभीर में बारिश से स्टोर हो रहे पानी को मिलकर शहर में दो दिन छोड़कर जलप्रदाय किया जा रहा है, लेकिन चार दिन पहले छोटे पुल के पास पीएचई की राइजिंग लाइन टूट गई इस कारण पुराने शहर की अनेक कालोनियों में टर्न के बावजूद जलप्रदाय नहीं हुआ। मंगलवार को लाइन रिपेयरिंग के बाद टंकियां भरने का काम शुरू हुआ। सुबह जलप्रदाय किया जाना था। पुराने शहर के नयापुरा, पीपलीनाका, कमल कालोनी आदि क्षेत्रों में जलप्रदाय तो हुआ लेकिन नलों से मटमैला व दूषित पानी आने से लोग परेशान हो गये। कम दबाव से जलप्रदाय के कारण चार दिन बाद भी लोग पीने का पानी स्टोर नहीं कर पाये। इस संबंध में पुराने शहर की जलप्रदाय व्यवस्था देख रहे उपयंत्री राजीव शुक्ला ने बताया कि शिप्रा नदी छोटे पुल के पास रिपेयरिंग की गई लाइन सुबह फिर से टूट गई। लाइन के पास रूद्रसागर नाला, दानीगेट नाला की लाइन लगी हुई है इसके अलावा शिप्रा नदी का पानी भी ओवरफ्लो हो रहा है इस कारण लाइन रिपेयरिंग काम में दिक्कत आ रही है।

अब शनिवार को जलप्रदाय

पीएचई द्वारा शहर में दो दिन छोड़कर जलप्रदाय किये जाने के कारण अगला जलप्रदाय शनिवार को होगा। जिन क्षेत्रों में दूषित और मटमैला पानी सप्लाय हुआ उन क्षेत्रों के लोगों को अब हैंडपंप, बोरिंग आदि से दो दिनों तक काम चलाना पड़ेगा।

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