विदेशों में पैदावार घटने से बढ़े सोयाबीन के भाव पाम ऑइल का आयात कम होने से तेल महंगा

सोयाबीन के भाव लगातार बढ़ रहे हैं। खरीफ फसल की बोवनी के बाद शेष रही सोयाबीन को लेकर मंडी पहुंच रहे किसानों को सीजन से भी अच्छे दाम मिल रहे हैं। मंगलवार को कृषि उपज मंडी में 2641 क्विंटल सोयाबीन की आवक हुई। उन्हें क्वालिटी अनुसार 2850 से 8650 रुपए क्विंटल के दाम मिले। उन्हेल में सोयाबीन 9910 रुपए क्विंटल में बिकी। व्यापारियों का कहना है कि सोयाबीन के भाव में बढ़ोतरी का असर तेल के भाव पर भी पड़ेगा।

मंडी व्यापारी गोविंद खंडेलवाल ने बताया सोयाबीन के प्रमुख उत्पादक अर्जेंटीना में सूखा पड़ने से फसल खराब हो गई। इसका असर पैदावार पर हुआ। भारत सबसे ज्यादा सोयाबीन तेल का आयात अर्जेंटीना करता है। ऐसे में भारत के लिए सोया तेल का आयात महंगा हो गया। यही हाल ब्राजील और अमेरिका का है। 6 से 7 साल में पूरे विश्व में सोयाबीन की पैदावार में किसी न किसी कारण से कमी आ रही है।

यही कारण है कि सोयाबीन के भाव बढ़ रहे हैं। तेल व्यापारी राजेंद्र काबरा ने बताया सोयाबीन बीज के दाम बढ़ने से सोयाबीन तेल के दाम भी बढ़ गए हैं। व्यापारी मोहन खंडेलवाल का कहना है कि मलेशिया से पाम ऑयल का आयात होता है, जो इस बार कम हो गया है। इसका असर सोयाबीन तेल के भाव पर पड़ रहा है।

9 महीने में दोगुने हो गए सोयाबीन के भाव
मंंडी में नए सोयाबीन की आवक अक्टूबर में होने लगी थी। तब किसानों को 2500 से 4300 रुपए क्विंटल के भाव मिल रहे थे। सोयाबीन की बोवनी के वक्त अच्छी क्वालिटी की सोयाबीन की मांग रही। सोयाबीन प्लांट की मांग भी बढ़ गई। ऐसे में 9 महीने में सोयाबीन के भाव 9 हजार रुपए क्विंटल के ऊपर हो गए।
20 रुपए घटकर 15 रुपए बढ़े तेल के दाम
सोयाबीन के दाम में एक महीने में बड़ी तेजी मंदी दिखाई दी। एक महीने पहले सोयाबीन 160 रुपए किलो तक पहुंच गया था। उसके 15 दिन बाद इसमें 20 रुपए की गिरावट दर्ज की गई यानी यह 140 रुपए किलो हो गया लेकिन यह मंदी ज्यादा दिन नहीं रही। वर्तमान में यह 155 रुपए किलो हो गया है।

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