महापौर बोलीं- पूजन सामग्री से शिप्रा में गंदगी, याचिकाकर्ता ने कहा- पानी पी कर बताएं

उज्जैन। शहर के 11 नालों का पानी मिलने से दूषित हो रही शिप्रा के मामले में इंदौर हाईकोर्ट की डबल बैंच में अवमानना याचिका पर बुधवार को सुनवाई हुई। महापौर मीना जोनवाल की ओर से शपथ पत्र देकर जवाब पेश किया कि शिप्रा में लोग पूजन सामग्री डालते हैं, इस वजह से नदी में गंदगी हो रही है। याचिकाकर्ता मंथन पारमार्थिक संस्था के अध्यक्ष बाकीर अली रंगवाला ने कोर्ट में कहा जो लोग पूजन सामग्री से शिप्रा को गंदा होना बता रहे हैं वे नदी से एक बॉटल पानी लेकर उसे पीकर बताएं, मैं याचिका वापस ले लूंगा। याचिकाकर्ता ने प्रमाण देकर कहा शिप्रा में गंदे नाले मिल रहे हैं। महापौर ने शपथ पत्र कोर्ट द्वारा मांगे गए जवाब में दिया।

120 पेज की रिपोर्ट जिसमें बताया शिप्रा नालों की वजह से मैली: प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने नालों का पानी नदी में मिलने की 120 पेज की रिपोर्ट न्यायालय में पेश की। जिसमें स्पष्ट किया है कि शहर के 11 नालों का गंदा पानी व इंदौर रोड पर राघोपिपल्या में खान का पानी शिप्रा मिलने से शिप्रा मैली हो रही है।

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