- श्री महाकालेश्वर मंदिर में एंट्री का हाईटेक सिस्टम हुआ लागू, RFID बैंड बांधकर ही श्रद्धालुओं को भस्म आरती में मिलेगा प्रवेश
- कार्तिक पूर्णिमा आज: उज्जैन में उमड़ी श्रद्धालुओं की भीड़, माँ क्षिप्रा में स्नान के साथ करते हैं सिद्धवट पर पिंडदान
- भस्म आरती: भांग, चन्दन और मोतियों से बने त्रिपुण्ड और त्रिनेत्र अर्पित करके किया गया बाबा महाकाल का दिव्य श्रृंगार!
- Ujjain: बैकुंठ चतुर्दशी आज, गोपाल मंदिर पर होगा अद्भुत हरि-हर मिलन; भगवान विष्णु को जगत का भार सौंपेंगे बाबा महाकाल
- भस्म आरती: रजत सर्प, चंद्र के साथ भांग और आभूषण से किया गया बाबा महाकाल का दिव्य श्रृंगार, श्रद्धालुओं ने लिया भगवान का आशीर्वाद
70/84 श्री दुर्घरेश्वर महादेव
70/84 श्री दुर्घरेश्वर महादेव नेपाल में एक राजा दुधर्ष था। उसकी तीन रानियां थी। एक समय मृग्या करते हुए वह एक तालाब पर पहुंचा। वहां उसे एक सुंदर कन्या दिखाई दी। वे दोनों एक-दूसरे पर मोहित हो गये। उसने कन्या से उसका परिचय पूछा। कन्या ने कहा वह कल्प मुनि की कन्या है। आप मुनि के पास जाकर मेरा हाथ मांगो। राजा ने वैसा ही किया। कल्प मुनि ने कन्या का राजा से विवाह करा…
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