उज्जैन में निजी स्कूलों की मनमानी पर सख्त प्रशासनिक एक्शन: अब स्कूल नहीं चला सकेंगे मनमानी, कलेक्टर ने जारी किए कड़े निर्देश; उल्लंघन पर होगी कड़ी कार्रवाई!

उज्जैन लाइव, उज्जैन, श्रुति घुरैया:
उज्जैन में निजी स्कूलों की मनमानी पर जिला प्रशासन ने सख्त रुख अपनाते हुए स्कूल प्रबंधन, प्रकाशकों और विक्रेताओं की मिलीभगत पर कड़ा एक्शन लेने का आदेश जारी किया है।
शहर में एनसीईआरटी और एससीईआरटी की निर्धारित किताबों के बजाय महंगी और गैर-मानक किताबें बेचने की मजबूरी, यूनिफॉर्म और स्टेशनरी की खरीद पर दबाव जैसी मनमानी के खिलाफ कलेक्टर ने भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023 के तहत स्कूल संचालकों को सख्त निर्देश दिए हैं।
अब क्या बदलेगा?
- स्कूलों को कक्षा अनुसार किताबों की सूची अपनी वेबसाइट पर अनिवार्य रूप से अपलोड करनी होगी और परीक्षा परिणाम से पहले सार्वजनिक करनी होगी।
- अभिभावकों को किसी एक दुकान से खरीदने की बाध्यता नहीं होगी। वे खुले बाजार से स्वतंत्र रूप से खरीद सकेंगे।
- पुरानी किताबें चलेंगी! छात्र यदि अपनी पुरानी किताबें इस्तेमाल करना चाहता है, तो कोई विक्रेता उसे पूरे सेट की खरीद के लिए बाध्य नहीं करेगा।
- यूनिफॉर्म में मनमानी खत्म! कोई भी स्कूल दो से अधिक यूनिफॉर्म अनिवार्य नहीं कर सकेगा, और तीन सत्रों तक इसमें बदलाव नहीं होगा।
- निजी प्रकाशकों की किताबों पर रोक – स्कूल अब सिर्फ सीबीएसई, एमपी बोर्ड या नियामक संस्था द्वारा अनुमोदित किताबें ही पढ़ा सकेंगे।
- वार्षिकोत्सव और अन्य आयोजनों के नाम पर जबरन महंगे ड्रेस कोड की बाध्यता खत्म!
उल्लंघन पर होगी सख्त कार्रवाई!
स्कूल संचालकों द्वारा इस आदेश का उल्लंघन करने पर भारतीय न्याय संहिता 2023 की धारा 223 के तहत कड़ी कार्रवाई होगी। स्कूल प्रबंधन, प्राचार्य और बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स के सभी सदस्य इसके लिए समान रूप से जिम्मेदार माने जाएंगे।
शिकायत कहां करें?
कोई भी अभिभावक यदि इस आदेश के उल्लंघन की शिकायत करना चाहता है तो कमांड कंट्रोल रूम 0734-2520711 पर सूचना दे सकता है।
यह आदेश तत्काल प्रभाव से लागू किया गया है और अगले दो माह तक पूरे उज्जैन जिले में लागू रहेगा। अब देखना यह होगा कि स्कूल प्रबंधन प्रशासन के इस कड़े फैसले के बाद अपनी मनमानी जारी रखता है या व्यवस्था में सुधार आता है।